पूर्णिया : लू एवं गर्मी से बचाव एवं सुरक्षा को लेकर जिलाधिकारी कुन्दन कुमार की अध्यक्षता में संबंधित विभागीय पदाधिकारियों के साथ समाहरणालय स्थित सभाकक्ष में बैठक आहूत की गई। इस बैठक में नगर आयुक्त, नगर निगम पूर्णिया,उप विकास आयुक्त, अपर समाहर्ता,सिविल सर्जन, जिला शिक्षा पदाधिकारी,जिला पंचायत राज पदाधिकारी एवं संबंधित विभागीय पदाधिकारी उपस्थित थे और संबंधित अंचलाधिकारी, प्रखंड विकास पदाधिकारी एवं प्रखंड स्तरीय पदाधिकारी, तथा नगर निगम एवं नगर परिषद कार्यपालक पदाधिकारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से जुड़े हुए थे। बैठक को संबोधित करते हुए जिला अधिकारी द्वारा लू के बारे में जानकारी दी गई कि वास्तविक अधिकतम तापमान 45 डिग्री सेल्सियस अथवा अधिक होने पर लू की स्थिति मानी जाती है। वास्तविक अधिकतम तापमान 47 डिग्री सेल्सियस अथवा अधिक होने पर Severe Heatwave की स्थिति मानी जाती है। सामान्य तापमान से विचलन के आधार पर बेस्ड ऑन डिपार्चर फ्रॉम नॉरमल टेंपरेचर वास्तविक अधिकतम तापमान 40 डिग्री सेल्सियस अथवा उससे अधिक होने पर यदि किसी दिन का अधिकतम तापमान उस दिन के सामान्य अधिकतम तापमान से 5 डिग्री सेल्सियस अधिक हो जाए तो लू की स्थिति मानी जाती है। साथ ही यदि किसी दिन का अधिकतम तापमान उस दिन के सामान्य अधिकतम तापमान से 7 डिग्री सेल्सियस अधिक हो जाए तो Severe Heatwave की स्थिति मानी जाती है। सिविल सर्जन पूर्णिया को सभी सरकारी अस्पतालों में लू से प्रभावित व्यक्तियों के ईलाज की विशेष व्यवस्था तथा पर्याप्त मात्रा में ओ आर एस पैकेट आई वी,फ्लूड एवं जीवन रक्षक दवाएं इत्यादि की व्यवस्था अस्पतालों में आवश्यकतानुसार आइसोलेशन वार्ड की व्यवस्था कराने का निर्देश दिया गया। बच्चों, बृर्द्धा, गर्भवती महिलाओं तथा गंभीर रूप से बीमार व्यक्तियों का विशेष ध्यान रखने का निर्देश दिया गया। चलंत चिकित्सा दल एवं वाहन की समुचित व्यवस्था करने का निर्देश दिया गया। लू से बचाव के लिए आम लोगों को जागरूकता के लिए विभिन्न माध्यमों से प्रचार-प्रसार करने का निर्देश संबंधित विभागीय पदाधिकारियों को दिया गया। जिला पंचायत राज पदाधिकारी को निर्देश दिया गया कि पंचायतों में लू के दौरान क्या करें क्या ना करें का प्रचार प्रसार कराएं।
पंचायतों में अग्निकांड से बचाव का अभी प्रचार कराने का निर्देश दिया गया। पेयजल की व्यवस्था के लिए पंचायतों में कार्य योजना के तहत व्यवस्था कराने तथा जल संरक्षण योजना पर कार्य कराने का निर्देश दिया गया। कार्यपालक अभियंता मनरेगा को निर्देश दिया गया कि मनरेगा अंतर्गत तलाव एवं आहर इत्यादि की खुदाई की योजनाओं में तेजी लाई जाए। जिससे इनमें पानी इकट्ठा हो एवं पशु पक्षियों को पानी प्राप्त हो सके। भीषण गर्मी में मनरेगा की कार्य अवधि सुबह 6:00 से 11:00 बजे तथा अपराहन 3:30 बजे से 6:30 बजे तक निर्धारित करेंगे। कार्यस्थल पर पेयजल एवं प्राथमिक उपचार की व्यवस्था करने का निर्देश दिया गया। नगर निगम एवं नगर परिषद कार्यपालक पदाधिकारी को शहरी क्षेत्र में सार्वजनिक स्थानों पर प्याऊ की व्यवस्था खराब चपाकलों की मरम्मती, आश्रय स्थलों में पेयजल की व्यवस्था लू से बचाव से संबंधित सूचनाओं का आम जनों के लिए प्रदर्शित करें। लू से बचाव के लिए सोशल मीडिया स्थानीय समाचार के माध्यम से लोगों को जागरूक करें। भीषण गर्मी से बचाव के लिए सुबह की पाली में विद्यालय को संचालन करने का निर्देश जिला शिक्षा पदाधिकारी को दिया गया। सभी स्कूलों एवं परीक्षा केंद्रों में पेयजल एवं ओआरएस की व्यवस्था स्वास्थ्य विभाग के माध्यम से कराने का निर्देश दिया गया
लू लगने पर क्या न करें कि जानकारी से आम लोगों को जागरूक करें कि:- जहां तक संभव हो कड़ी धूप में बाहर ना निकले। अधिक तापमान में बहुत अधिक शारीरिक श्रम ना करें। चाय कॉफी जैसे गर्म पेय तथा जर्दा तंबाकू आदि मादक पदार्थों का सेवन कम करें अथवा ना करें। ज्यादा प्रोटीन वाले भोजन जैसे मांस अंडा और सूखे मेवे जो शारीरिक ताप को बढ़ाते हैं का सेवन कम करें अथवा न करें। यदि व्यक्ति गर्मी एवं लू के कारण पानी की उल्टियां करें या बेहोश हो तो उसे कुछ भी खाने पीने को ना दें। बच्चों को बंद वाहनों में अकेला ना छोड़े।
लू लगने पर क्या करें:—– लू लगे व्यक्ति को छांव में लिटा दें अगर उनके शरीर पर तंग कपड़े हो तो उन्हें ढीला कर दें अथवा हटा दें। लू लगे व्यक्ति का शरीर ठंडे गीले कपड़े से शरीर पोंछें या ठंडे पानी से नह- लाएं। उनके शरीर के तापमान को कम करने के लिए कूलर पंखे आदि का प्रयोग करें। उसके गर्दन पेट एवं सिर पर बार-बार गिला तथा ठंडा कपड़ा रखें। उस व्यक्ति को ओ आर एस एवं नींबू पानी नमक चीनी का घोल छाछ शरबत पीने को दें जो शरीर में जल की मात्रा को बढ़ा सकें। लू लगे व्यक्ति की हालत में 1 घंटे तक सुधारना न हो तो उसे तुरंत नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र में ले जाएं।