पूर्णिया: लगातार हो रही बारिश और कोसी (भीम नगर) बैराज से अत्यधिक पानी छोड़े जाने के कारण अमौर प्रखंड में बाढ़ की स्थिति गंभीर हो गई है। कनकई, महानंदा, परमान और दास नदियां उफान पर हैं, जिससे क्षेत्र के कई गांवों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है। स्थानीय निवासियों के अनुसार, कनकई नदी के कटाव से नागरा टोली और सिमलबाडी गांव के दर्जनों परिवारों के घर नदी में समा गए हैं। सैकड़ों परिवार अपने घरों से विस्थापित होकर पैठान टोली स्थित ऊंचे पुल पर खुले में शरण लेने को मजबूर हो गए हैं। प्रभावित क्षेत्रों में तालबारी, चौका, कपरिया, बनगामा, ज्ञानडोव पंचायत के सिमलबाडी, नगरा टोल, पैठान टोली और रंगरैय्या लालटोली पंचायत के रंगरैय्या गांव शामिल हैं। इन सभी स्थानों पर लोगों के घरों में बाढ़ का पानी घुस चुका है।
बाढ़ ने बुनियादी ढांचे को भी प्रभावित किया है। स्टेट हाईवे 99 पर हलालपुर चौक से पैठान टोली जाने वाले प्रधानमंत्री सड़क में कई जगहों पर सड़क टूट गई है और कुछ हिस्सों में 2 फुट तक पानी बह रहा है। पैठान टोली से सीमलवाड़ा जाने वाला संपर्क मार्ग पूरी तरह से बाधित हो गया है। बाढ़ पीड़ितों ने आरोप लगाया है कि प्रशासन द्वारा अब तक कोई प्रभावी राहत उपाय नहीं किए गए हैं, जिससे लोगों में आक्रोश बढ़ रहा है। समाजसेवी सायक आलम ने बताया कि उन्होंने सीओ अमौर, बीडीओ और एसडीओ सहित वरिष्ठ अधिकारियों को स्थिति की जानकारी दे दी है, लेकिन अब तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई है। स्थानीय निवासी तत्काल राहत और बचाव कार्यों की मांग कर रहे हैं। बाढ़ प्रभावित परिवारों को भोजन, पीने का पानी और अस्थायी आश्रय की तत्काल आवश्यकता है। प्रशासन से अपेक्षा की जा रही है कि वह जल्द से जल्द स्थिति का संज्ञान लेकर आवश्यक कदम उठाए।