बिहार: केंद्र सरकार के साथ वार्ता के बाद ट्रांसपोर्टर्स ने देशव्यापी चक्का जाम वापस ले लिया। हिट एंड रन’ मामलों के लिए नए आपराधिक कानून भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) के तहत सख्त जेल और जुर्माना प्रावधानों के खिलाफ ट्रक-टैंकर, बस ऑपरेटरों की हड़ताल मंगलवार रात खत्म हो गई। हालांकि हड़ताल के दूसरे दिन मंगलवार को बिहार समेत देशभर में ट्रक चालकों ने प्रदर्शन किया। राज्य में देर रात तक वाहनों का आवागमन बाधित रहा। देशभर में लगभग 2,000 पेट्रोल पंपों पर पेट्रोल-डीजल का स्टॉक खत्म हो गया था। देर शाम केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला ने अखिल भारतीय परिवहन कांग्रेस के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की। भल्ला ने कहा, ‘हमने अखिल भारतीय परिवहन कांग्रेस के प्रतिनिधियों से चर्चा की। सरकार ये बताना चाहती है कि हिट एंड रन मामलों के लिए नए कानून एवं प्रावधान अभी लागू नहीं हुए हैं। भारतीय न्याय संहिता की धारा 106(2) लागू करने से पहले अखिल भारतीय परिवहन कांग्रेस से विचार करने के बाद ही निर्णय लिया जाएगा।
सरकार के सूत्रों ने कहा कि कानूनी प्रावधानों पर कुछ भ्रम हैं, जिन्हें दूर किया जाएगा। अगर सड़क दुर्घटना के मामले में दुर्घटना करने वाले बड़े वाहन का चालक घटनास्थल से थोड़ी दूर जाकर ही पुलिस को सूचना देता है तो कठोरतम दंड से बच जाएगा। इसके पहले मंगलवार दिन में ट्रांसपोर्टर व वाहन चालकों की हड़ताल के कारण राजधानी पटना की सब्जी, मछली और फल मंडियों के साथ-साथ खाद्यान्नों की आपूर्ति प्रभावित हुई है। मछली और फल मंडियों के कारोबारियों को बीते दो दिनों की हड़ताल में 10 करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान का अनुमान है। पटना के बाजार समिति स्थित मछली मंडी में 30 गाड़ियों का स्टॉक फंस गया। हड़ताल के कारण विभिन्न जगहों पर फल और सब्जी से भरी गाड़ियां फंसी रही।