BIHAR POLITICS : 15 दिनों के आमरण अनशन के बाद जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर ने आज गंगा स्नान कर अपना उपवास तोड़ा। ‘जय बिहार’ और ‘भारत माता की जय’ के जयघोष से गूंजते आश्रम में उन्होंने एक नए आंदोलन की शुरुआत की घोषणा की। मीडिया से बातचीत में किशोर ने कहा कि वे बिहार में व्यवस्था परिवर्तन के लिए यहीं रहकर संघर्ष करेंगे। उनका मुख्य लक्ष्य शिक्षा और रोजगार की बेहतर व्यवस्था स्थापित करना है। उन्होंने जोर देकर कहा कि यह सत्याग्रह सत्य के लिए है, जिसमें जाति और उन्माद से ऊपर उठकर बिहार के लाखों युवाओं को जोड़ा जाएगा।
6 जनवरी की घटना का जिक्र करते हुए प्रशांत किशोर ने चेतावनी दी कि लाठीचार्ज में शामिल किसी भी अधिकारी को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने कहा कि अगले दो दिनों में इस कार्रवाई में शामिल सभी पदाधिकारियों के खिलाफ कोर्ट और मानवाधिकार आयोग में कार्रवाई की जाएगी। गांधी प्रतिमा के पास से हटाए जाने का जिक्र करते हुए किशोर ने कहा, “गांधी जी की मूर्ति के नीचे से हटाया था, अब हम गंगा जी की गोद में बैठ गए हैं। गांधी जी की मूर्ति से आवाज दबाई गई तो अब गंगा जी से आवाज निकलेगी।” उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार किसी भी तरह से उनकी आवाज नहीं दबा सकेगी और लोकतंत्र को लाठीतंत्र नहीं बनने दिया जाएगा।